लद्दाख में भारत के साथ उलझे को ने अच्छा सबक सिखाया है। जापानी एयरस्पेस में घुसे चीन के एक बॉम्बर प्लेन को जापानी एयरफोर्स के फाइटर जेट्स ने दूर तक खदेड़ दिया। कुछ दिन पहले ही जापानी नौसेना ने एक चीनी पनडुब्बी को ऐसे ही मार भगाया था। एशिया में विस्तारवादी मानसिकता को संजोने वाला चीन अब में जापान के साथ द्वीपों को लेकर उलझा हुआ है। वहीं जापान ने सख्त चेतावनी देते हुए कहा है कि पश्चिमी प्रशांत क्षेत्र में चीन की हर हरकत का माकूल जवाब दिया जाएगा।
जापानी रक्षा मंत्रालय ने जारी किया बयान
जापानी रक्षा मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि पूर्वी चीन सागर में जापानी द्वीप ओकिनावा और मियाको के बीच चीनी एच -6के स्ट्रेटजिक बॉम्बर का पता लगाया गया। जिसके बाद जापानी एफ-16 फाइटर जेट्स ने उड़ान भर चीन के इस एयरक्राफ्ट को अपनी सीमा से बाहर भगा दिया।
परमाणु हमला करने में सक्षम चीनी बॉम्बर
चीनी एच -6 के बॉम्बर को लंबी दूरी पर स्थित टारगेट को निशाना बनाने के लिए डिजाइन किया गया है। यह विमान परमाणु हमला करने में भी सक्षम है। चीन ने इस विमान को विशेष रूप से अमेरिका के बेस को निशाना बनाने के लिए शामिल किया है। इसके पिछले मॉडल में मिसाइल की क्षमता सीमित थी लेकिन इसे अपग्रेड कर अब और उन्नत बनाया गया है।
द्वीपों को लेकर जापान से भिड़ा चीन
चीन और जापान में पूर्वी चीन सागर में स्थित द्वीपों को लेकर आपस में विवाद है। दोनों देश इन निर्जन द्वीपों पर अपना दावा करते हैं। जिन्हें जापान में सेनकाकु और चीन में डियाओस के नाम से जाना जाता है। इन द्वीपों का प्रशासन 1972 से जापान के हाथों में है। वहीं, चीन का दावा है कि ये द्वीप उसके अधिकार क्षेत्र में आते हैं और जापान को अपना दावा छोड़ देना चाहिए। इतना ही नहीं चीन की कम्यूनिस्ट पार्टी तो इसपर कब्जे के लिए सैन्य कार्रवाई तक की धमकी दे चुकी है।
जापानी नेवी करती है इन द्वीपों की रखवाली
सेनकाकू या डियाओस द्वीपों की रखवाली वर्तमान समय में जापानी नौसेना करती है। ऐसी स्थिति में अगर चीन इन द्वीपों पर कब्जा करने की कोशिश करता है तो उसे जापान से युद्ध लड़ना होगा। हालांकि दुनिया में तीसरी सबसे बड़ी सैन्य ताकत वाले चीन के लिए ऐसा करना आसान नहीं होगा। पिछले हफ्ते भी चीनी सरकार के कई जहाज इस द्वीप के नजदीक पहुंच गए थे जिसके बाद टकराव की आशंका भी बढ़ गई थी।
जापान ने भारतीय नौसेना के साथ किया युद्धाभ्यास
जापानी नौसेना ने ट्वीट किया कि 27 जून को जापान मैरिटाइम सेल्फ डिफेंस फोर्स के JS KASHIMA और JS SHIMAYUKI ने भारतीय नौसेना के आईएनएस राणा और आईएनएस कुलीश के साथ हिंद महासागर में एक अभ्यास किया। इसके जरिए जापान मैरिटाइम सेल्फ डिफेंस फोर्स ने भारतीय नौसेना के साथ अपने समझ और सहयोग को बढ़ाया।
चीन समुद्र में चला रहा पावर गेम
साउथ चाइना सी में ‘जबरन कब्जा’ तेज कर दिया है। पिछले रविवार को चीन ने साउथ चाइना सी की 80 जगहों का नाम बदल दिया। इनमें से 25 आइलैंड्स और रीफ्स हैं, जबकि बाकी 55 समुद्र के नीचे के भौगोलिक स्ट्रक्चर हैं। यह चीन का समुद्र के उन हिस्सों पर कब्जे का इशारा है जो 9-डैश लाइन से कवर्ड हैं। यह लाइन इंटरनैशनल लॉ के मुताबिक, गैरकानूनी मानी जाती है। चीन के इस कदम से ना सिर्फ उसके छोटे पड़ोसी देशों, बल्कि भारत और अमेरिका की टेंशन भी बढ़ गई है।