: एमपी के गुना में दलित किसान परिवार पर पुलिसिया अत्याचार की घटना पर जारी राजनीति के बीच प्रदेश बीजेपी के अध्यक्ष वी डी शर्मा () ने कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह () को कटघरे में खड़ा कर दिया है। शर्मा ने कहा है कि गुना का कथित जमीन माफिया गब्बू पारदी कांग्रेस का कार्यकर्ता है और दिग्विजय के साथ उसके संबंधों की जांच होनी चाहिए। उन्होंने इस मामले में सीएम शिवराज सिंह चौहान () को चिट्ठी लिखकर जांच की मांग की है।
शर्मा ने कहा है कि उपचुनावों से पहले प्रदेश में राजनीतिक विद्वेष फैलाने की साजिश रची जा रही है। गब्बू के खिलाफ दर्जनों आपराधिक मामले दर्ज हैं और वह कांग्रेस पार्टी का पुराना कार्यकर्ता रहा है। इसलिए उन्होंने पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह के साथ उसके संबंधों की जांच की मांग की है। शर्मा ने शिवराज सिंह चौहान सरकार का बचाव करते हुए कहा है कि यह प्रदेश में राजनीतिक विद्वेष फैलाने की साजिश का हिस्सा है।
बता दें कि गुना में मंगलवार को जिस जमीन पर अवैध कब्जा हटाने के लिए पुलिस और राजस्व विभाग का अमला पहुंचा था, उस पर कब्जा करने वालों में गब्बू पारदी का नाम सामने आ रहा है। पुलिस की बेरहमी का शिकार हुए पीड़ित किसान परिवार इस जमीन को बटाई पर लेकर खेती कर रहा था। पुलिस इससे पहले भी जमीन को अवैध कब्जे से मुक्त करा चुकी थी, लेकिन माफिया इस पर दोबारा अतिक्रमण कर रहा था।
हालांकि, अवैध कब्जा हटाने गई पुलिस की किसान परिवार से झड़प हो गई और आक्रोश में किसान दंपति ने कीटनाशक खा लिया। इसके बाद पुलिस ने उसके परिवार के सदस्यों की बेरहमी से पिटाई कर दी। बुधवार को घटना का वीडियो वायरल होने के बाद से मामले को लेकर प्रदेश को सियासी पारा भी चढ़ा हुआ है। कांग्रेस इसे प्रदेश में जंगलराज का उदाहरण बताकर शिवराज सिंह चौहान सरकार को घेरने की कोशिश कर रही है। इधर, सरकार ने ग्वालियर रेंज के आईजी के साथ गुना के कलेक्टर और एसपी का ट्रांसफर कर दिया है। 6 पुलिसकर्मियों को निलंबित भी किया गया है।
इन सबके बीच शर्मा ने संदेहास्पद जमीन माफिया के साथ दिग्विजय सिंह का कनेक्शन जोड़कर कांग्रेस को बैकफुट पर धकेलने की कोशिश की है। अब देखना यह है कि कांग्रेस इसका क्या जवाब देती है।