2 महीने में 18 बार कांपी धरती, क्या होनेवाला है

नई दिल्‍ली
देश की राजधानी दिल्‍ली और उससे जुड़ा पूरा क्षेत्र शुक्रवार शाम धरती के हिलने से कांप उठा। यहां के निवासियों ने शाम को करीब 7 बजे भूकंप के तेज झटके महसूस किए। जानकारों के अनुसार भूकंप का केंद्र गुरुग्राम से 63 किलोमीटर दूर था। रिक्‍टर स्‍केल पर इसकी तीव्रता 4.5 नापी गई। शुक्रवार दोपहर को ही नॉर्थ ईस्‍ट के राज्‍य मिजोरम में भी भूकंप आया था। पिछले 2 महीने में देश में लगभग 17 से ज्‍यादा भूकंप की घटनाएं हुई हैं।

पिछले कुछ दिनों में भारत के अलग-अलग हिस्‍सो में लगातार भूकंप आने की घटनाएं दर्ज की गई हैं। मिजोरम से पहले 30 जून को कश्‍मीर में 4.4 तीव्रता का भूकंप आया था, इससे पहले 28 जून को मिजोरम में 4.5 तीव्रता के भूकंप ने लोगों में दहशत मचा दी।

पिछले दो सप्‍ताह से आ रहे झटकेमिजोरम (Mizoram) में शुक्रवार दोपहर 2:35 बजे भूकंप (earthquake) के तेज झटके महसूस किए गए। भूकंप की तीव्रता रिक्टर पैमाने पर 4.6 मापी गई है। हालांकि भूकंप के कारण अभी तक किसी तरह के जान-माल के नुकसान की कोई खबर नहीं मिली है। बता दें कि मिजोरम में बीते दो सप्ताह से आए दिन भूकंप के झटके महसूस किए जा रहे हैं।

केंद्र चंफई पहाड़ी के पासनेशनल सेंटर फॉर सीस्मोलॉजी (National Center for Seismology) के अनुसार, मिजोरम में शुक्रवार दोपहर 14 बजकर 35 मिनट पर भूकंप आया। इसकी तीव्रता रिक्टर पैमाने पर 4.6 मापी गई है। बताया गया कि भूकंप का केंद्र मिजोरम के चंफई के पास था। बता दें कि इस पहाड़ी राज्य में पिछले सप्ताह भी कई बार भूकंप के झटके महसूस किए गए थे।

22 जून को भी आया था भूकंपमिजोरम में पिछले सप्ताह 22 जून की रात और दोपहर में भी भूकंप आया था। आपदा प्रबंधन अधिकारियों के अनुसार, भूकंप के कारण किसी जान-माल के नुकसान की कोई खबर नहीं मिली।

30 जून को कश्‍मीर में भूकंपभूकंप के झटके सुबह 8 बजकर 56 मिनट के करीब महसूस किए गए। बताया जा रहा है कि भूकंप का केंद्र कटरा से लगभग 84 किलोमीटर पूर्व में था। नैशनल सेंटर फॉर सिस्मलॉजी के मुताबिक भूकंप का केंद्र जमीन से लगभग दस किलोमीटर नीचे था। इसकी तीव्रता 4.4 नापी गई।

खतरनाक जोन में है जम्मू-कश्मीर का हिस्साभारतीय मानक ब्यूरो ने विभिन्न एजेंसियों से प्राप्त वैज्ञानिक जानकारियों के आधार पर पूरे भारत को चार भूकंपीय जोनों में बांटा है। इसमें सबसे ज्यादा खतरनाक जोन 5 है। वैज्ञानिकों के अनुसार, इस क्षेत्र में रिक्टर स्केल पर 9 तीव्रता का भूकंप आ सकता है। जोन-5 में पूरा पूर्वोत्तर भारत, जम्मू-कश्मीर के कुछ हिस्से, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड गुजरात में कच्छ का रन, उत्तर बिहार का कुछ हिस्सा और अंडमान निकोबार द्वीप समूह शामिल है। इस क्षेत्र में अक्सर भूकंप आते रहते हैं।

एक महीने में 6 बार हिला जम्मू-कश्मीरजम्मू-कश्मीर में इसी महीने के अंदर 6 बार भूकंप के झटके महसूस किए गए हैं। बीते 15 जून और 16 जून को दो दिनों के अंदर ही चार बार भूकंप के झटके महसूस किए गए।

देश में लगभग 1 महीने में 11 बार आया भूकंपपिछले एक महीने में भारत में 11 बार भूकंप आ चुका है। दिल्ली-एनसीआर में लगातार भूकंप आ रहे हैं। वैज्ञानिकों का कहना है कि हिमालय के आसपास धरती के नीचे काफी उथल-पुथल हो रही है, इस कारण भूकंप आ रहे हैं। वैज्ञानिकों ने बड़े भूकंप की चेतावनी भी जारी की है।

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