मरने से पहले विकास ने मारी थी CO को गोली

कानपुर
हिस्‍ट्रीशीटर विकास दुबे (Vikas dubey encounter) उज्‍जैन से कानपुर लाते समय एनकाउंटर में मार गिराया गया। अब उसके मुठभेड़ से जुड़ी घटनाएं सामने आ रही हैं। एनकाउंटर से पहले विकास दुबे ने यूपी एसटीएफ के सीओ तेज बहादुर सिंह के सीने पर फायर किया था पर बुलेटप्रूफ जैकैट ने सीओ की जान बचा ली। इसके बाद कई पुलिसकमियों ने दुबे पर गोलियां चलाईं जिससे वह घायल होकर जमीन पर गिर गया था। ये बातें तेज बहादुर की तरफ से दर्ज कराई गई एफआईआर से सामने आई हैं।

एफआईआर में कहा गया है कि विकास दुबे को उज्‍जैन से कानपुर लाते समय सुरक्षा कारणों से उसके वाहन बदले जा रहे थे। जो वाहन सड़क पर पलटा था, उसी में इंस्‍पेक्‍टर रमाकांत और कॉन्‍सटेबल प्रदीप कुमार के बीच विकास दुबे को बैठाकर लाया जा रहा था। एसटीएफ के अन्‍य जवान दो अन्‍य वाहनों में बैठे थे। गाड़ी पलटने के बाद दुबे इंस्‍पेक्‍टर रमाकांत की पिस्‍टल लेकर भागा था।

इंस्‍पेक्‍टर का पिस्‍टल छीन भागा था दुबे
बाराजोर टोल प्‍लाजा पार करने के बाद तेज बारिश होने लगी। उसी दौरान जानवरों का झुंड भागता हुआ सड़क पार करने लगा। विकास दुबे जिस वाहन में था, उसका ड्राइवर नियंत्रण खो बैठा और गाड़ी पलट गई। मौके का फायदा उठाते हुए दुबे इंस्‍पेक्‍टर का पिस्‍टल छीनकर गाड़ी के पिछले दरवाजे से भाग निकला। पुलिसकर्मी उसके पीछे दौड़े पर वह उन पर गोलियां बरसाने लगा। इसी दौरान दुबे ने सीओ तेजबहादुर सिंह के सीने पर फायरिंग कर दी।

8 पुलिसकर्मियों को किया था शहीद
गौरतलब है कि कानपुर के बिकरू गांव में विकास दुबे ने अपने घर पर छापा मारने आई पुलिस टीम पर घात लगाकर हमला कर दिया था। इस हमले में सीओ समेत 8 पुलिसकर्मी शहीद हो गए थे। कई घायल पुलिसकर्मियों का इलाज चल रहा था। इसके बाद कार्रवाई करते हुए पुलिस ने दुबे के कई साथियों को एनकाउंटर में मार गिराया था। बाद में विकास दुबे उज्‍जैन में पकड़ा गया। उसे वहां से कानपुर लाते समय पुलिस का वाहन पलट गया और एनकाउंटर में दुबे मार गिराया गया।

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